सुप्रीम कोर्ट का अहम फैसला : यूपी सरकार के आदेश पर लगाई अंतरिम रोक, अखिलेश, चंद्रशेखर सहित कई नेताओं ने की सराहना

UPT | अखिलेश और चंद्रशेखर

Jul 23, 2024 00:47

सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले पर विपक्षी दलों के नेताओं ने प्रतिक्रिया दी है। समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव और भीम आर्मी के प्रमुख चंद्रशेखर आजाद सहित कई नेताओं ने इस पर अपने विचार व्यक्त किए हैं। 

Lucknow News : उत्तर प्रदेश में कांवड़ यात्रा रूट पर दुकानदारों के नाम लिखने के आदेश पर सुप्रीम कोर्ट ने अंतरिम रोक लगा दी है। कोर्ट ने आदेश दिया है कि दुकानदारों को अभी अपना नाम लिखने की आवश्यकता नहीं है। यह निर्णय राज्य सरकार के उस आदेश पर आया है जिसमें कांवड़ यात्रा मार्ग पर स्थित दुकानों के मालिकों को अपने नाम और पहचान लिखने को कहा गया था। सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले पर विपक्षी दलों के नेताओं ने प्रतिक्रिया दी है। समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव और भीम आर्मी के प्रमुख चंद्रशेखर आजाद सहित कई नेताओं ने इस पर अपने विचार व्यक्त किए हैं। 

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अखिलेश ने ये कहा
सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने मीडिया से बातचीत के दौरान कहा कि, 'जैसे दिया बुझने से पहले फड़फड़ाता है, यह सांप्रदायिक राजनीति का दिया भी फड़फड़ा रहा है, इसलिए ऐसे फैसले ले रहे हैं। इसीलिए आप लोगों ने देखा होगा इतने दिनों से लगा हुआ प्रतिबंध भी इन लोगों ने हटा दिया है।'
  अखिलेश ने फैसले को बताया सौहार्दमेवजयते
सुप्रीम कोर्ट ने उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में कांवड़ यात्रा मार्ग पर दुकानदारों को नेमप्लेट लगाने के आदेश पर अंतरिम रोक लगा दी है। इस फैसले पर समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने अपने सोशल मीडिया पोस्ट में इन फैसले को  'सौहार्दमेवजयते' बताते हुए लिखा, "एक नयी नाम-पट्टिका पर लिखा जाए- सौहार्दमेवजयते!" 
 

एक नयी ‘नाम-पट्टिका’ पर लिखा जाए : सौहार्दमेव जयते!

— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) July 22, 2024 चंद्रशेखर ने भी किया फैसले का स्वागत
नगीना के सांसद चंद्रशेखर ने कोर्ट के इस फैसले का स्वागत किया। उन्होंने कहा "दुकानदारों को मालिकों के नाम लिखने वाले" मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के हिटलरी फरमान पर माननीय उच्चतम न्यायालय की रोक लगाना, संविधान के आधार पर किसी भी प्रकार का भेदभाव नही होगा के सिद्धांत को मजबूत करना है। संविधान की जीत हुई है। फैसले का हम स्वागत करते है। सांप्रदायिकता मुर्दाबाद, भाई चारा जिंदाबाद। 

"दुकानदारों को मालिकों के नाम लिखने वाले" मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी के हिटलरी फरमान पर माननीय उच्चतम न्यायालय की रोक लगाना।फैसला "संविधान के आधार पर किसी भी प्रकार का भेदभाव नही होगा" सिद्धांत को मजबूत करने वाला है। संविधान की जीत हुई। फैसले का हम स्वागत करते है।…

— Chandra Shekhar Aazad (@BhimArmyChief) July 22, 2024 स्वामी प्रसाद मौर्य ने ये कहा
सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर राष्ट्रीय शोषित वंचित समाज पार्टी के नेता स्वामी प्रसाद मौर्य ने भी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने कहा कि सर्वोच्च न्यायालय ने भाजपा शासित राज्यों द्वारा नेमप्लेट लगाने के आदेश को रोककर संविधान और सांप्रदायिक सौहार्द की रक्षा की है। मौर्य ने इस निर्णय का स्वागत करते हुए कहा कि वे पहले से ही भाजपा सरकार के इस फैसले को असंवैधानिक बता रहे थे। उनकी यह टिप्पणी न्यायपालिका के निर्णय का समर्थन करती है और साथ ही सरकार की नीतियों पर सवाल उठाती है।

मा0 सर्वोच्च न्यायालय ने भा.ज.पा. शासित कुछ राज्यों द्वारा नेम प्लेट लगाये जाने के आदेश को रोक लगाकर संविधान व सांप्रदायिक सौहार्द की रक्षा की हैl मा0 सर्वोच्च न्यायालय के इस निर्णय का मैं स्वागत करता हूं। मैं तो पहले से ही कह रहा था कि भा.ज.पा सरकार का यह निर्णय असंवैधानिक हैl…

— Swami Prasad Maurya (@SwamiPMaurya) July 22, 2024 दानिश अली ने ये कहा
सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर बहुजन समाज पार्टी नेता कुंवर दानिश अली ने कहा कि, कांवड़ यात्रा नेम प्लेट वाले बेतुके फ़रमान पर माननीय सुप्रीम कोर्ट द्वारा रोक लगाना नफ़रती लोगों के मुँह पर एक करारा तमाचा है। प्रदेश के हुक्मरानों को अपने गिरेबान में झांकना चाहिये कि वो किस तरह छोटे राजनीतिक फ़ायदे के लिए देश का बड़ा नुक़सान करने से पहले ज़रा भी नहीं सोचते।

कांवड़ यात्रा नेम प्लेट वाले बेतुके फ़रमान पर माननीय सुप्रीम कोर्ट द्वारा रोक लगाना नफ़रती लोगों के मुँह पर एक करारा तमाचा है। प्रदेश के हुक्मरानों को अपने गिरेबान में झांकना चाहिये कि वो किस तरह छोटे राजनीतिक फ़ायदे के लिए देश का बड़ा नुक़सान करने से पहले ज़रा भी नहीं सोचते।

— Kunwar Danish Ali (@KDanishAli) July 22, 2024

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