UP News : पेपर लीक में यूपी एसटीएफ ने दिल्ली पुलिस के हेडकांस्टेबल को पकड़ा, सात लाख में हुई थी डील

UPT | पेपर लीक मामले में आरोपी गिरफ्तार

Apr 24, 2024 00:29

उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती पेपर लीक मामले में यूपी एटीएफ (UP STF) ने एक और आरोपी को अरेस्ट किया है। एसटीएफ ने आरोपी को बागपत से गिरफ्तार किया है। पकड़े गए आरोपी के पास से...

UP News : उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती पेपर लीक मामले में यूपी एटीएफ (UP STF) ने एक और आरोपी को अरेस्ट किया है। एसटीएफ ने आरोपी को बागपत से गिरफ्तार किया है। पकड़े गए आरोपी के पास से यूपी पुलिस भर्ती परीक्षा का पेपर, आनंसर सीट, एक मोबाइल फोन और एक आधार कार्ड बरामद किया गया है।आरोपी विक्रम सिंह पहल हरियाणा के जींद का रहने वाला है। दिल्ली पुलिस में हेड कॉन्स्टेबल है। पुलिस के मुताबिक, पेपर लीक में नाम सामने आने के बाद करीब 1 महीने से फरार चल रहा था। विक्रम ने पेपर को अलग-अलग लोगों को देकर उसे मानेसर और रीवा में पढ़वाया था।

हरियाणा के महेंद्र शर्मा है मुख्य आरोपी
एसटीएफ ने बताया कि 18 फरवरी को उत्तर प्रदेश पुलिस सिपाही भर्ती परीक्षा में सेकेंड शिफ्ट (Second shift) का पेपर लीक हुआ था। पेपर लीक कराने में हरियाणा के रहने वाले महेंद्र शर्मा का हाथ बताया जा रहा है। इसमें महेंद्र शर्मा को मुख्य आरोपी माना जा रहा है। हरियाणा के रिजॉर्ट में करीब दो महीने पहले यानी 16 फरवरी-2024 को विक्रम ने 800 अभ्यर्थियों को पेपर पढ़वाया था। यूपी एसटीएफ की जांच में खुलासा हो चुका है कि 18 फरवरी को लीक हुए पेपर की आंसर सीट करीब 400 अभ्यर्थियों को गुरुग्राम में मानेसर के एक रिसॉर्ट में बैठाकर रटाई गई थी। एसटीएफ ने जांच करते हुए मामले का खुलासा किया। इस मामले में सात आरोपियों को अरेस्ट किया है।

जानकारी के मुताबिक, पेपर लीक मामले में एक आरोपी महेंद्र शर्मा जींद का रहने वाला है। यूपी पुलिस भर्ती का पेपर हरियाणा राज्य के गुरुग्राम शहर के एक रिसॉर्ट में लीक किया गया था। हर अभ्यर्थी से सात लाख रुपए लिए गए थे। एसटीएफ की टीम ने अब तक पेपर लीक मामले से जुड़े गैंग के 14 अभियुक्तों को अरेस्ट कर चुकी है।

पेपर लीक का मास्टरमाइंड है रवि
एसटीएफ के मुताबिक, मुखबिर से सूचना मिलने के बाद आरोपी विक्रम को गिरफ्तार किया गया है। एसटीएफ की टीम ने विक्रम से पूछताछ की तो उसने बताया कि साल- 2010 में उसका सेलेक्शन बतौर कॉन्स्टेबल दिल्ली पुलिस में हुआ था। इस दौरान उसकी पोस्टिंग तीसरी बटालयिन, पहली बटालियन, ट्रैफिक और फिर सीएम बटालियन में रही। साल- 2021 में वह नितिन से मिला था, जो कि सोनीपत के रहने वाला था। नितिन ने उसके साथ प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी की थी। नितिन अब कॉम्पिटेटिव एग्जाम के लिए सॉल्वर का काम करता है। वह पेपर लीक कराने का काम भी करता है। नितिन ने ही विक्रम की मुलाकात रवि अत्री से कराई थी। रवि पेपर लीक का मास्टरमाइंड है।

मानेसर में नेचर वैली रिसॉर्ट को बुक किया
पूछताछ में विक्रम ने एसटीएम को बताया कि रवि अत्री ने उससे लीक पेपर को अभ्यर्थियों तक पहुंचाने की बात डील हुई थी। उन्होंने बताया कि रवि ने कहा था कि कहीं ऐसा जगह ढूंढो, जो शांत और एकांत जगह हो। या फिर होटल या रिसॉर्ट की तलाश करे, जहां हजार अभ्यर्थियों को लीक पेपर पढ़वाया जा सके। विक्रम पहल ने अपने साथी गुनिया उर्फ इंद्रजीत और दाउद उर्फ विक्की को भी इस तरह की जगह खोजने को कहा। इसके बाद तीनों ने मिलकर हरियाणा के गुरुग्राम के मानेसर में नेचर वैली रिसॉर्ट को बुक किया। रिसॉर्ट के मालिक सतीश धनकड़ से मिलकर 18-20 लाख रुपए में डील फिक्स की गई।

800 अभ्यर्थियों को प्रश्न पत्र और उत्तर पढ़ाए गए
इसके बाद 15 फरवरी-2024 को पेपर लीक गैंग ने करीब 400 अभ्यर्थी लेकर पहुंचे। रात में विक्रम पहल और उसके साथी को पेपर लाने के लिए फोन आया। उन्हें बताया गया कि रोहतक रोड पर दिल्ली बॉर्डर के पास बिहार का रहने वाला राजन उन्हें एग्जाम पेपर और सॉल्वड पेपर देगा। 16 फरवरी को विक्रम ने राजन के पास जाकर वह पेपर और आनंसर-की ले ली। विक्रम ने रिसॉर्ट में करीब 800 अभ्यर्थियों को प्रश्न पत्र और उत्तर पढ़ाए थे। विक्रम ने राजन के बारे में बताया कि वह दरभंगा का रहने वाला है, उसकी कृष्णा डिजिटल नाम से एक लैब है। वह दिल्ली के रोहणी में किसी अपार्टमेंट में रहता है।

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