Mirzapur News : मंडलीय अस्पताल में बिजली गुल, गर्मी के कारण मरीजों का हुआ बुरा हाल

UPT | बिजली नही आने से परेशान मरीज

Jun 13, 2024 19:00

मंडलीय अस्पताल में हीट वेब वार्ड भले ही बनाया गया है, लेकिन बिजली गुल होने के बाद मरीजों की मुश्किलें बढ़ रही हैं। दिन में जिले का तापमान 44 से 47 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच रहा है...

Mirzapur News : मंडलीय अस्पताल में हीट वेब वार्ड भले ही बनाया गया है, लेकिन बिजली गुल होने के बाद मरीजों की मुश्किलें बढ़ रही हैं। दिन में जिले का तापमान 44 से 47 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच रहा है। ऐसे में पंखा बन्द होने पर पसीने की धार फुट पड़ती है, जबकि रात में बिजली जाने पर अस्पताल अंधेरे में ही गुम हो जाता हैं। कहने को तो मरीजों की सेवा के लिए भारी भरकम जनरेटर लगाया गया है, लेकिन बिजली गायब होने पर भी शांत रहने वाला जनजनरेटर मुसीबत मे सहायक न बन कर व्यवस्था की पोल खोल रहा है। 

हीट वेव वार्ड के कूलर पंखें बने शोपीस
गर्मी के मौसम में नगर के तमाम हिस्सों में करीब 5 से 6 घंटा की बिजली कटौती कर बिजली के तारो को दुरुस्त किया जा रहा है। ऐसे में मंडलीय अस्पताल की बिजली भी गुल होना स्वभाविक बात है। तापमान 44 से 47 डिग्री के बीच लोगों का बुरा हो रहा है। एक ही दिन में हीट वेव से 14 सरकारी कर्मचारियों की मौत हो गई। उसके बावजूद मंडलीय अस्पताल में बिजली कटौती के दौरान बिजली संकट मरीजों के लिए परेशानी का सबब बना हुआ है। लू की चपेट में आने वाले लोगों को राहत देने के लिए हीट वेव वार्ड बनाया गया है। जहा पंखे के अलावा कूलर की व्यवस्था है, लेकिन बिजली के अभाव में यह सब महज शोपीस बनकर रह गया है। 

मरीजो का हुआ बुरा हाल
अस्पताल में भर्ती मरीज और तीमारदार बिजली गुल हो जाने के बाद तन से निकल रहे पसीने के कारण व्याकुल हो रहे हैं। व्यवस्था का जिम्मा संभालने वालों को मरीजों की बेबसी नजर नहीं आ रही है। अस्पताल में शारीरिक परेशानी से निजात पाने के लिए पहुंचे मरीजों के तीमारदार पसीने से मरीज की तरबतर होने पर पसीना पोछते हुए उन्हें पंखा कर रहे हैं। ताकि किसी प्रकार मरीज को राहत मिल सके। व्यवस्था का जिम्मा संभालने वाले मरीजों की समस्या से अंजान बने है। 

क्या बोले मरीजों के तीमारदार
अस्पताल में अपनी पत्नी को लेकर पहुंचे उमर सोनकर ने बताया कि गर्मी के चलते बेड पर भर्ती उसकी पत्नी बेड छोड़कर अस्पताल के नीचे आ गई। ठंडे पानी से उनके हाथ पैर को पोछा जा रहा है, ताकि उन्हें राहत मिल सके। सड़क हादसे में घायल शिव शंकर यादव ने बताया कि गांव में 24 घंटा बिजली आपूर्ति का दावा किया जा रहा है, लेकिन अस्पताल में ही लाइट नहीं है। अंधेरे में अस्पताल का काम चल रहा है। अनूप यादव अपने मौसा को अस्पताल में भर्ती कराया है। बताया कि बिजली चले जाने पर पंखा बंद हो जा रहा है। मरीज के बदन को पोछने के साथ ही पंखा करके उन्हें राहत देने का प्रयास किया जा रहा है। अस्पताल में जनरेटर होने के बावजूद उसे ना चालू की जाने पर चिंता जताया।

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