कार खरीदने जा रहे हैं तो जरूर जानें : इन मॉडलों पर यूपी में नहीं लगेगी रजिस्ट्रेशन फीस, 3 लाख रुपये तक घट गई कीमत

UPT | इन मॉडलों पर यूपी में नहीं लगेगी रजिस्ट्रेशन फीस

Jul 10, 2024 16:43

उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने कई कारों से रजिस्ट्रेशन शुल्क को हटा दिया है। इससे कारों की कीमत में 2 से 3 लाख रुपये तक की कटौती हो गई है।

Short Highlights
  • कई कारों से रजिस्ट्रेशन शुल्क हटा
  • कारों की कीमत में 2 से 3 लाख घटी
  • 1 जुलाई से लागू हो गया आदेश
New Delhi : अगर आप कार खरीदने जा रहे हैं, तो आपके लिए एक अच्छी खबर है। उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने कई कारों से रजिस्ट्रेशन शुल्क को हटा दिया है। इससे कारों की कीमत में 2 से 3 लाख रुपये तक की कटौती हो गई है। कार के दाम घटने से सीधे तौर पर खरीदारों को इसका फायदा होगा। क्या है ये पूरा फैसला और इससे किन कारों की कीमत घटी है, इसके बारे में आपको बताते हैं।

इन कारों पर नहीं लगेगी रजिस्ट्रेशन फीस
योगी सरकार का रजिस्ट्रेशन फीस नहीं लेने का फैसला हाइब्रिड कारों पर लागू होगा। वर्तमान में मारूति, टोयोटा और होंडा समेत कई कंपनियां हाइब्रिड कारें बना रही हैं। आपको बता दें कि यूपी में 10 लाख से कम कीमत के वाहनों पर 8 फीसदी और 10 लाख से अधिक कीमत के वाहनों पर 10 फीसदी रजिस्ट्रेशन शुल्क लगता है। पंजीकरण शुल्क नहीं लेने का फैसला 1 जुलाई से लागू हो गया है।

कितनी घट जाएगी कीमत?
पंजीकरण शुल्क हटने से कारों की कीमत 2 से 3 लाख रुपये तक घटी है। इससे मारुति की ग्रैंड विटारा करीब 2 लाख रुपये और मारुति की इनविक्टो 3 लाख रुपये तक सस्ती हो गई है। आपको बता दें कि यूपी में ग्रैंड विटारा और इनविक्टो की एक्स शोरूम कीमत 1.99 लाख से 25.21 लाख रुपये के बीच है।  आपको बता दें कि कार्बन उत्सर्जन कम करने के लिए केंद्र सरकार ने प्रदेश सरकारों को हाइब्रिड वाहनों को ईवी के बराबर मानते हुए पंजीकरण शुल्क में छूट देने का निर्देश दिया था।

क्या होती हैं हाइब्रिड कारें?
हाइब्रिड कारें दरअसल सामान्य पेट्रोल-डीजल कारों की तरह ही होती हैं, लेकिन इसमें पेट्रोल या डीजल इंजन के साथ एक इलेक्ट्रिक इंजन भी होता है। ईंधन पर चलने के दौरान इलेक्ट्रिक इंजन चार्ज होता रहता है। इलेक्ट्रिक व्हीकल की तरह इसके लिए सपोर्टेड चार्जिंग इंफ्रास्ट्रक्चर की जरूरत नहीं होती है। पेट्रोल या डीजल कारों के मुकाबले हाइब्रिड कारों में ज्यादा माइलेज मिलता है।

क्यों लेना पड़ा सरकार को ये फैसला?
दरअसल बीते कुछ समय से उत्तर प्रदेश में हाइब्रिड कारों की बिक्री में काफी कमी आ गई थी। सरकार का यह फैसला तमाम कार बायर्स को हाइब्रिड कारों को खरीदने में मदद करेगा। इलेक्ट्रिक कारों की तर्ज पर ग्रीन व्हीकल्स को बढ़ावा देने के लिए ये फैसला लिया गया है। एक आंकड़े के मुताबिक उत्तर प्रदेश में हर महीने केवल 100 हाइब्रिड कारें ही बिक रही थीं। उम्मीद है कि सरकार के इस फैसले से वाहनों की बिक्री में तेजी आएगी।

Also Read