लोकतंत्र के प्रहरी : बुजुर्ग वोटर ने पेश की अनोखी मिशाल, जिसने भी जाना वो रह गया हैरान...

UPT | प्रतीकात्मक फोटो

May 13, 2024 22:34

पत्नी का शव सामने रखा है और बुजुर्ग पति अंतिम संस्कार करने की जगह पहले मतदान केंद्र गया...

Auraiya News (Vishal Tripathi) : पत्नी का शव सामने रखा है और बुजुर्ग पति अंतिम संस्कार करने की जगह पहले मतदान केंद्र गया और वोट डाला। इसके बाद अंतिम संस्कार की तैयारी की। यह जिसने भी सुना और देखा वह यही कहते दिखे की ऐसे लोग ही लोकतंत्र के प्रहरी होते है। यह वाक्या इटावा लोकसभा के दिबियापुर कस्बे का है। यहां एक बुजुर्ग अपनी पत्नी के शव का दाह संस्कार करने से पहले अपने मताधिकार का प्रयोग करने के लिए मतदान केंद्र गए।

रिश्तेदारों ने समझाया, मगर पहले किया मतदान
जानकारी के अनुसार, संजय नगर निवासी 84 वर्षीय बुजुर्ग रामलखन की 78 वर्षीय पत्नी सरोज कुमारी का रविवार की शाम देहांत हो गया था। परिजनों एवं रिश्तेदारों के इकट्ठा न होने के कारण शाम को सरोज कुमारी का अंतिम संस्कार नहीं हो सका। सोमवार सुबह अंतिम संस्कार किए जाने की बात तय हुई। सोमवार सुबह घर पर सभी अंतिम संस्कार की तैयारी कर रहे थे, तभी रामलखन ने रिश्तेदारों को बताया कि वह पहले वोट डालने जाएंगे। रिश्तेदारों ने पत्नी की अंत्येष्टि करने के बाद वोट डालने के लिए समझाया। लेकिन रामलखन ने पहले मतदान की बात कही। 

लोकतंत्र को जिंदा रखने के लिए उठाया यह कदम
इसके बाद सुबह लगभग साढ़े आठ बजे उन्होंने दिबियापुर के प्राथमिक विद्यालय स्थित मतदान केंद्र पर अपने मताधिकार का प्रयोग किया। इसके बाद लगभग 11 बजे दिबियापुर के मुक्तिधाम में पहुंचकर पत्नी का अंतिम संस्कार किया। रामलखन ने बताया कि वह पत्नी और बेटी विनीता के साथ रहते हैं। उन्होंने लोकतंत्र को जिंदा रखने के लिए यह कदम उतागया। पहले मतदान किया, इसके बाद पत्नी का अंतिम संस्कार किया। अंतिम संस्कार के बाद बेटी विनीता को भी वोट डालने के लिए भेजा।

Also Read