अलीगढ़ में शिक्षकों का हल्ला बोल : पुरानी पेंशन बहाली के लिए उतरे शिक्षक, बाइक रैली निकालकर किया प्रदर्शन

UPT | बाइक रैली निकालते शिक्षक

Aug 10, 2024 18:13

अलीगढ़ में पुरानी पेंशन की बहाली की मांग को लेकर शिक्षक एक बार फिर से सड़कों पर उतर आए हैं। शिक्षकों ने पूर्व एमएलसी जगवीर किशोर जैन के नेतृत्व में एक बाइक रैली...

Aligarh News : अलीगढ़ में पुरानी पेंशन की बहाली की मांग को लेकर शिक्षक एक बार फिर से सड़कों पर उतर आए हैं। शिक्षकों ने पूर्व एमएलसी जगवीर किशोर जैन के नेतृत्व में एक बाइक रैली निकाली और अपनी मांगों को लेकर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को ज्ञापन भेजा। शिक्षकों ने चेतावनी दी है कि अगर उनकी मांगों को जल्द ही नहीं माना गया, तो वे और बड़े पैमाने पर आंदोलन करेंगे, और आगामी उपचुनाव में भी सरकार को अपनी ताकत का एहसास कराएंगे।

मुख्यमंत्री के नाम भेजा पत्र
शिक्षकों का कहना है कि जिस तरह से 2024 के लोकसभा चुनाव में उन्होंने एकजुट होकर भारतीय जनता पार्टी के खिलाफ मोर्चा खोला था, उसी तर्ज पर वे इस बार भी सरकार के विरोध में खड़े होंगे। फिलहाल, शिक्षकों ने अपनी मांगों को लेकर एक पत्र  मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नाम भेजा है, और आगामी दिनों में लखनऊ की ओर कूच करने की योजना बनाई है।

बाइक रैली के माध्यम से विरोध
बाइक रैली उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षक संघ के प्रांतीय नेतृत्व के आवाहन पर आयोजित की गई थी। इसमें माध्यमिक और प्राथमिक शिक्षकों ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया। रैली अलीगढ़ के रामलीला ग्राउंड से शुरू होकर बस स्टैंड कटपुला होते हुए कलेक्ट्रेट तक पहुंची। शिक्षकों ने अपने स्कूटर और मोटरसाइकिल पर मार्च निकालते हुए 23 सूत्रीय मांगों का ज्ञापन सौंपा।

शिक्षकों की मांगें
शिक्षकों की प्रमुख मांगों में पुरानी पेंशन योजना की बहाली, नि:शुल्क चिकित्सा सेवाओं की उपलब्धता, वित्तविहीन शिक्षकों को समान कार्य के लिए समान वेतनमान, और आठवां वेतन आयोग का गठन शामिल है। जिससे कि उन्हें केंद्रीय कर्मचारियों के समान वेतन दिया जा सके।

सरकार पर आरोप और चेतावनी
शिक्षकों ने मौजूदा सरकार पर आरोप लगाया है कि वे लंबे समय से अपनी मांगों को लेकर प्रदर्शन कर रहे हैं, लेकिन उनकी कोई सुनवाई नहीं हो रही है। पूर्व एमएलसी जगवीर किशोर जैन ने मौजूदा सरकार पर शिक्षकों के विरोध में खड़े होने का आरोप लगाया और कहा कि सपा शासन काल में शिक्षकों का पूरा सम्मान किया गया था। उन्होंने चेतावनी दी कि अगर शिक्षकों की मांगें नहीं मानी गईं, तो आंदोलन को और व्यापक किया जाएगा। जिसका खामियाजा मौजूदा सरकार को भुगतना पड़ेगा।

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