इटावा में एक नकली दवा फैक्टरी पकड़ी गई। जिसमें एक्सपायरी दवाओं को पीसकर रंग-बिरंगे कैप्सूल बनाए जाते थे। इनकी सप्लाई आसपास के जिलों के मेडिकल स्टोरों में की जाती थी। जिससे फैक्टरी संचालक बड़ा मुनाफा कमाते थे। बिना रजिस्ट्रेशन के अवैध दवा फैक्टरी चल रही थी।